- स्थानीय लोग उचित दाम पर बेच सकेंगे कीड़ा जड़ी, आय भी होगी और पलायन भी रूकेगा
- केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डा मांडविया ने सीमांत गांव मलारी के भ्रमण के दौरान की घोषणा
क्रांति मिशन ब्यूरो
जेशीमठ (चमोली)। मोदी सरकार ‘वोकल फॉर लोकल’ की बात ही नहीं कर रही इस पर काम भी कर रही है, चमोली जिले में खुलेगा कीड़ा जड़ी संकलन केंद्र। स्थानीय लोग उचित दाम पर बेच सकेंगे कीड़ा जड़ी, आय भी होगी और पलायन भी रूकेगा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डा मनसुख मांडविया ने सीमांत गांव मलारी के भ्रमण के दौरान की घोषणा। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डा मनसुख मांडविया ने कहा कि उच्च हिमालयी क्षेत्र में पाई जाने वाली कीड़ा जड़ी के लिए चमोली जिले में एक संकलन केंद्र खोला जाएगा। जहां स्थानीय लोग उचित दाम पर इसे बेच सकेंगे। साथ ही उन्होंने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र जोशीमठ का नाम चिपको नेत्री गौरा देवी के नाम पर रखने पर सहमति व्यक्त की। डा मांडविया चमोली जिले के सीमांत गांव मलारी पहुंचे और स्थानीय लोगों से बात की। उन्होंने कहा कि यहां पहुंचकर पता चल रहा है कि सीमांत क्षेत्र के गांवों में भी ज्यादातर मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध हो रही हैं।
मांडविया ने लोगों से केंद्र सरकार की योजनाओं पीएम आवास, उज्ज्वला योजना, आयुष्मान भारत, फ्री राशन, बिजली, पानी, मोबाइल कनेक्टिविटी आदि के बारे में जानकारी ली। उन्होंने कहा कि सीमांत क्षेत्र में अच्छी सडकें हैं, नेटवर्क कनेक्टिविटी, स्वास्थ्य की सुविधाएं बेहतर हुई हैं। सुविधाएं बढने से धीरे-धीरे पलायन कम हो रहा है।
मांडविया ने कहा कि वाइब्रेंट विपेज के तहत सब तरह के कार्य किए जा रहे हैं। मंत्री ने कहा कि लोगों में हिमालयी क्षेत्र में एडवेंचर गेम्स को लेकर रूचि बढ रही है, हमें इस दिशा में भी काम करना है। उन्होंने कहा कि यहां मोबाइल कनेक्टिविटी में सुधार किया जाएगा। उन्होंने सीडीओ डा ललित नारायण मिश्र को वाइब्रेंट विपेज कार्यक्रम के तहत सार्वजनिक जीवन उपयोगी व पर्यटन गतिविधियों को बढाने के लिए कहा। इस दौरान जिलाधिकारी हिमांशु खुराना, सीएमओ डा राजीव शर्मा भी मौजूद रहे।
केंद्रीय मंत्री का किया स्वागत
इससे पहले केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ मनसुख मांडविया का देवभूमि पहुंचने पर राज्य के स्वास्थ्य मंत्री डॉ धन सिंह रावत, सचिव स्वास्थ्य डा आर राजेश कुमार, विधायक मदन कौशिक समेत तमाम नेताओं ने स्वागत किया ।